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Chudail ki kahani Real life story

तीन तरह का दैत्य होता है ये थोड़ा मैं एक्स्ट्रा बता रहा हूं इसमें ठीक है तो हमने हमेशा से सुना कि जो राक्षस होते थे उनको देवता मारने के लिए आते थे तो वो पहले दैत्य होते थे वह सबसे कम खतरनाक दैत्य होते हैं ठीक है सबसे कम खतरनाक राक्षस होते जो एक पूरी सोसाइटी को खराब करते हैं जो पूरे एक नेशन को खराब करते हैं और उनका जो है संघार हो जाता है यह सबसे निम्न स्तर के दैत्य या राक्षस हो जैसे कि जैसे बाना सुर था पूतना थी यह सब राक्षस थी जो के जो कि पूरे एक सोसाइटी में नर संघार मचा के इन्होने रखा था वो महाभारत महाभारत डिंबा और और कौन थे वो बकासुर बकासुर, Aap dekh rahe chudail ki kahani ,

जी बाना सुर थे जिनका वद वीरभद्र जी ने किया था आगे चलकर तो आप ये कह रहे हो कि ये बेसिक लेवल के राक्षस है बेसिक लेवल के राक्षस का एक विषय बता रहा हूं आध्यात्म में आप ये जानते हैं उससे जो खतरनाक राक्षस होते हैं वह मनुष्य रूप में एक परिवार में बसते हैं और उनका काम होता है कि परिवार को नेगेटिविटी में ले जाए उनका एक ऐसा संयोग होता है वह पैदा इस तरीके से होते हैं कि उनका जो स्वभाव होता है वह दैत्य वाला होता है इसको भी टैकल किया जा सकता है स्ट्रेटजिकली आध्यात्मिकता जो सबसे खतरनाक राक्षस होता है वह हर मनुष्य में बसता और उसका काम होता है आपसे गलती


करवाना आप आज अपने कोई भी व्यक्ति अपने प्लेजर के लिए अपने फायदे के लिए आज एक गलत काम करता है और उसको पता होता है कि यह कभी न कभी रहस उद्भेदन होगा और मैं जो है खत्म हो जाऊंगा लेकिन वह करता है यह अपने अंदर का राक्षस है इस राक्षस को आप पकड़ लेते हैं अगर आप साधना करते हैं इस राक्षस को आप गलती नहीं करने देते उस मिडिल कैटेगरी के बारे में बात करें वो बत खतरनाक होती है आप कह रहे थे कि फैमिली के अंदर ही किसी का जन्म होता है हा जिसमें राक्षस हर फैमिली में नहीं होता है लेकिन जब एक आत्मा जन्म लेती है ना तो सिर्फ एक चीज तय होता है जैसे बोलता है ना


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कि यह लिखा हुआ होगा इसके कर्म में तो लिखा हुआ कुछ नहीं होता है आपके जीवन में हमेशा ऑप्शंस रहते हैं आपके पास तय करके आत्मा सिर्फ ये आती है कि मैं इस मां के कोक से जन्म लूंगा और उसके हिसाब से मेरा कर्म जो है निर्धारित हो जाएगा अब किसी को आध्यात्म करना है तो वह किसी ऐसे परिवार में जाएगा जिसके आसपास मंदिर हो या मठ हो या मां बहुत पुजारी हो पिता बहुत पुजारी हो किसी को क्राइम करना है जीवन में बैलेंस होना चाहिए ना क तो वह एक ऐसी मां के गर में जाएगा जिसके घर में कोई क्रिमिनल हो ठीक है उसी तरीके से कुछ लोगों का प्रारब्ध होता है कि वह

पारिवारिक अशांति झेले और उस प्रारब्ध के अंदर में कुछ ऐसी शक्तियां उनके घर में जन्म लेती हैं जो कि घर को को अशांत करती है नकारात्मकता लाती है साथ में नकारात्मक ऊर्जा लेते हैं वो घर हमेशा अशांत रहता है तो फिर आध्यात्म के मार्ग से उसको जो है शांत किया जा सकता है जिस घर में एक भी आध्यात्मिक व्यक्ति होगा टॉक्सिक लोग वहां नहीं टिक पाएंगे जो टॉक्सिक होगा वो भी न्यूट्रलाइज हो जाएगा फ ये आइडेंटिफिकेशन है उनका पिछला जन्म क्या था जो अभी राक्षस हुए कुछ भी हो सकता है जैसे हमारा जो कांसेप्ट है ना कर्म का कि कर्म के हिसाब से अगला जन्म

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होगा तो कर्म का डेफिनेशन हम लोगों को गलत पढ़ाया गया पिछले 200 सालों में क्या हुआ कि हिंदू धर्म को बिल्कुल ही मैनिपुलेट करके हम लोगों को परोसा गया एक ऐसा वर्जन दिया गया हर चीजों का जिससे हम लोगों में सनातन धर्म के प्रति डर देवता के प्रति डर रहे ठीक है और हर वह चीज हो जो कि सोशली एक्सेप्टेबल हमारे ग्रंथ क्या कहते हैं उससे कोई मतलब नहीं है ठीक है कर्म बेसिकली क्या होता है कर्म होता है सीख जब महा शून्य बाफर केट हुए तो आत्माएं बनी नारायण बने और हर एक शरीर में एक नारायण आया उस नारायण को सब कुछ सीखना है कर्म का वह अच्छा हो या बुरा हो अच्छा और


बुरा जो होता है ना वह हमेशा पर्सपेक्टिव होता है देर इज नथिंग दैट इज एब्सलूट करेक्ट यू डू समथिंग इन लाइफ वो कभी एब्सलूट करेक्ट नहीं हो सकता आपके ऑफिस में दो लोग हैं उसमें एक को आपने प्रमोट कर दिया आप उसके लिए तो आपने गुड कर्म किया लेकिन एक और बंदा था जो एक्सपेक्ट कर रहा था कि प्रमोशन उसका होना चाहिए उसके लिए आप अवेल हो गए सो अच्छा बुरा कर्म जैसा कुछ होता नहीं है देयर हैज टू बी अ बैलेंस और एक आत्मा को ना सब सीखना है अच्छा बुरा एक जीवन में हत्यारा है अगले जीवन में वह संत भी होगा इस जीवन में पुजारी है तो अगले जीवन में वो नॉन


बिलीवर भी होगा वो जब पूरा सीख जाता है ना तब व एब्सलूट होता है और जब वो एब्सलूट होता है तभी वो महा शून्य महा शून्य का मतलब क्या एब्सलूट तब वो जाकर के महा शून्य में सम्मिलित हो जाता है जिसको हम कहते हैं कि उसको निर्वाण हो गया बैक टू डार्कनेस आप कैटेगरी के बारे में बता रहे थे आपने भूत स्लैश प्रेत की बात करी पिशाच की बात करी राक्षस की बात करी ब्रह्म राक्षस फिर होते हैं जो ब्राह्मण जो अतृप्त ब्राह्मण होते हैं जो अविवाहित होते हैं वो मर जाते है तो व ब्रह्म राक्षस होते है या फिर कोई ब्राह्मण जो गलत कर्मकांड करे या गलत


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तंत्र का प्रयोग करे वह भी ब्रह्म राक्षस की योनि में जाता है इनकी साधनाए नदी नदी के तटों पर होती है काफी ताकतवर एंटिटी होती है इसके अलावा बहुत इंटरेस्टिंग एंटिटीज हमारे यहां हैसे जिनको डाइन कहते हैं अभी तो लोग समझते हैं कि डाइन का मतलब जो टोटका करती हैं ग्रामीण महिलाएं या फिर इस तरीके लेकिन डाइन और चुड़ैल जो है ना दो एंटिटी होती है जो हर एक तांत्रिक का जो होता है ना एक सपना होता है इसको कभी तो देखे देखने के अलावा कुछ कर नहीं सकते ठीक है हमारा एक अनुभव है हमारे गुरु हुआ करते थे जब हम अघोर में बिल्कुल नए नए आए थे थोड़ा सा हम अघोर में


जा रहे हैं तो तो उस समय क्योंकि नए नए अघोर में थे तो कोई भी अगर तंत्र सीखता है ना तो उसका पहला कॉलिंग होता है फ्यूनरल ग्राउंड स्मशान घाट बन क्या मतलब वो एक्साइटिंग होता है और उस समय मेरा मेरा एज 20 यर्स तो बिल्कुल यंग 20 नहीं होगा 25 के आसपास था और स्मशान घाट जाना है रोज हवन करना है अ वहीं पर क्या होता है कि अघोर साधना में शराब चढ़ाता है शराब पीते है तो वह एक अलग लेवल का जो है ना थ्रिल होता है तो हमारे गुरु जी के एक बार गुरु जी आए तो ही ओल्ड पर्सन 80 साल के आसपास का और हम लोग हवन करके रात में ढाई बजे गुरुजी के घर पर पहुंचे गुरुजी ने अपना


रूम लगा लिया तो उन्होंने रूम लगा लिया और हम उनके गुरुजी और दो व्यक्ति और जो है बाहर में एक पीपल का पेड़ था उसके नीचे बैठ गए सुबह होने का इंतजार कर रहे थे कि अब सुबह होगा तो जाएंगे और जहां हम बैठे थे उसके आगे एक छोटा सा मैदान था और मैदान के सामने एक पेड़ था ठीक है वह फूल का नींद आएगी नहीं वो जो हमारे 80 साल के गुरुजी थे वो वहां सो गए गए थे तो हम लोग ऐसे बैठ कर के देख रहे थे सामने पेड़ पर अचानक हमने देखा कि कोई महिला फूल तोड़ रही है ठीक है प्रेगनेंट महिला लाल साड़ी पहन के फूल तोड़ रही है कॉमन साइट है हो सकता है चार बज रहा है चार बजने वाला है


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किसी को ब्रह्म मुरत में पूजा करना होगा फिर वह महिला गायब हो गई ठीक है वह दूसरे तरफ पेड़ की फिर दिखी फिर वहां उसने फूल तोड़ा फिर वो गायब हो गई फिर तीसरी तरफ दिखी तो जब दो-तीन मिनट हमने देखा ना तो हमने बोला कि यह सिर्फ मुझे दिख रहा है मुझे नींद आ रही है इसलिए इसको कंफर्म करना चाहिए तो हमने अपने बगल वालो को बगल वाले से पूछा कि तुम देख रहे हो कुछ क्या उसने बोला भैया हम भी वही देख रहे हैं फिर हमने तीसरे हम लोगों ने तीसरे व्यक्ति को महिला बो देखो उधर तो वह भी देख कर के हैरत में यह हो क्या रहा है कि वह महिला आ रही है इधर जा रही है उधर जा रही है गायब


हो जा रही है मतलब सुपर नेचुरल अगर देखा ना तो वो एक घटना थी जीवन में तो अंत में हमने अपने 80 साल वाले गुरु जी को उठाया गुरु जी ने देखा उसके बोला यह तो चुड़ैल है तो हम भागने को तैयार गुरु जी ने बोला उसको पकड़ो मैं शादी करूंगा और हम लोग घर की तरफ भागे और वह उसके पीछे दौड़ गए लेकिन उसके बाद हमने देखा कि वह एक कॉर्नर तक पहुंची वहां से गायब हो गई और वहां पर दो लोग खड़े थे उनको हम लोगों ने पूछा यहां से एक महिला गई है क्या उसने बोला कोई महिला नहीं आ उसे पकड़ते कैसे वो तो तंत्र मार्ग है मंत्र की शक्ति से मंत्र की शक्ति से तंत्र की शक्ति


से यानी कि और मंत्र पकड़ने के भी यंत्र होते हैं हमारे शास्त्रों में यंत्रों के बारे में बहुत विस्तार में बताया गया है जो समय के साथ वह लुप्त हो गया लेकिन गुरु परंपराओं में अभी भी यंत्रों का विवरण है तो कुछ यंत्र ऐसे होते हैं जो कि आप परमानेंट बनाकर रख सकते हैं कुछ यंत्र ऐसे होते हैं कि जो पूजा के समय बनाकर उसको तुरंत मिटाया जाता है और कुछ यंत्र ऐसे होते हैं जिनका कोई निशान नहीं छोड़ना चाहिए तो ये उन यंत्रों में आते हैं चुड़ैल का चेहरा याद है नहीं नहीं बहुत दूर थी डर महसूस हु बहुत क्यों महसूस हु अब आप शुरू शुरू अभ


तंत्र में है ऐसा समझते हैं और भूतों का बहुत रिसर्च आपने कर कर रखा है लेकिन भूत हमेशा आपसे मशीन से बातें कर रहे थे तो आपके सामने कभी कोई आया नहीं कभी कोई एक शैडो आपके सामने से चली गई यहां पर एक महिला दिख रही है जो साक्षात आपके सामने गायब हो रही है जिसका आपके पास कोई एक्सप्लेनेशन नहीं है तो कभी भी कोई न्यू एक्सपीरियंस आपके पास आएगा हॉरर खुद में एक इमोशन होता है पर उस गुरुजी का लॉजिक क्या था शादी क्यों करनी थी ट इ फन वह अपने मजे में बोल रहे थे उनके लिए तो वो एक शक्ति थी ना अगर उसको बांध लेते तो उनके पास एक शक्ति और हो

Witch Bus Driver | Haunted Night Stories | Chudail Kahaniya | Bhoot Stories

एक गाँव में मुनिया नाम की एक ज़िद्दी लड़की रहती थी। उसके पिता बस ड्राइवर थे, और बचपन से ही मुनिया का सपना था कि वह भी बस चलाए। वह अक्सर कहती, “बाबा, जब मैं बड़ी हो जाऊँगी, तो आपकी तरह बस चलाऊँगी!” पिता हँसकर जवाब देते, “ज़रूर, बेटी! जल्दी बड़ी हो जाओ, मैं तुम्हें अपनी बस सौंप दूँगा।”

समय बीता, मुनिया जवान हुई और एक दिन पिता से बोली, “अब आपका वादा पूरा करने का वक्त आ गया है।” पिता हैरान होकर बोले, “यह कैसी बातें? लड़कियाँ बस नहीं चलातीं! मैं बस तुम्हारे चचेरे भाई कुंवर को दूँगा।” मुनिया आँसू बहाती हुई चली गई। माँ-बाप चिंतित होकर बात करने लगे: “बचपन का मज़ाक उसे सच लगने लगा। अब क्या होगा?”

कुछ दिन बाद, कुंवर घर आया। पिता ने बस की चाबी उसे देने की बात कही। मुनिया ने गुस्से में कहा, “यह अन्याय है! मैंने जीवन भर यही सपना देखा है!” कुंवर ने समर्थन किया: “चाचा, वादा निभाइए। मुनिया को मौका दीजिए।” अंततः चाबी मुनिया को मिली।

कुंवर ने मुनिया को बस चलाना सिखाया। लोगों ने पहली बार एक लड़की को बस चलाते देखा तो हैरान रह गए। धीरे-धीरे मुनिया की बस मशहूर हो गई। पिता ने माना: “तुमने साबित कर दिया कि लड़कियाँ कुछ भी कर सकती हैं!”

मगर दूसरे ड्राइवरों को यह पसंद नहीं आया। एक रात, पिंटू और उसका साथी चुपके से मुनिया की बस के पहिए पंक्चर करने पहुँचे। पिंटू ने दोनों पहिए खराब कर दिए। अगले दिन, बस अनियंत्रित होकर दीवार से टकरा गई। मुनिया की मौत हो गई, और उसकी आत्मा एक चुड़ैल बन गई।

गाँव वाले दौड़े आए। मुनिया के माता-पिता विलाप करने लगे। तभी चुड़ैल बनी मुनिया ने पिंटू और उसके साथी का गला पकड़ लिया! “तुमने मुझे मारा! अब तुम्हारी बारी है!” कुंवर ने हस्तक्षेप किया: “रुको! इन्हें कानून सज़ा देगा। तुम्हारी बस फिर से चलेगी, और सभी तुम्हारे साथ हैं।”\

पुलिस ने दोषियों को गिरफ्तार किया। मुनिया की बस को ठीक किया गया। अब वह “भूतिया बस” बन चुकी थी, लेकिन गाँव वाले उसमें बैठने लगे। मुनिया की आत्मा शांत हुई, और वह रहस्यमय तरीके से बस चलाती रही… अपनी लगन और न्याय की मिसाल बनकर।

चुड़ैल राजकुमारी | Haunted Queen | Chudail Ki Kahaniya


एक बार की बात है एक गांव था उस गांव में सभी लोग बहुत खुश रहते थे गांव के मुखिया का नाम था रणवीर प्रताप सिंह और सभी लोग उनका बड़ा आदर करते थे रणवीर सिंह की एक छोटी सी बेटी थी(chudail ki kahani) रजनी जो हमेशा गांव वालों के साथ ही घूमा और खेला करती थी एक दिन रजनी गांव की एक बूढ़ी औरत मंजू के साथ बैठकर भुट्टे खा रही थी वाह दादी मां तुम्हारे खेत के भुट्टे तो बड़े स्वाद के हैं मजा ही आ जाता है इन्हें खाकर अरे बिटिया रानी तुमने मेरे खेत के भुट्टे खाए मैं तो उसी से धन्य हो गई अरे ऐसा क्यों कहती हो दादी मां भला मेरे खाने से ऐसा

क्या हो गया बिटिया तुम गांव के मुखिया की बेटी हो और क्या तुम जानती हो पुराने समय में तुम्हारे दादा पर दादा इस गांव के राजा हुआ करते थे यह बहुत पुरानी बात है इसलिए आज भी तुम्हारे पिता का गांव के सभी लोग बड़ा आदर करते हैं अच्छा दादी मां उस हिसाब से तो मैं राजकुमारी हुई(chudail ki kahani) ना हां हां बिल्कुल तुम हमारे गांव की राजकुमारी ही हो और जब तक तुम हो हमारे गांव पर कोई भी संकट नहीं आ सकता रजनी को यह सुनकर बड़ा अच्छा लगता है सभी गांव वाले उसे बड़ा पसंद करते थे लेकिन एक दिन अचानक से सब कुछ बदल जाता है जब रजनी की मां और पिता के बीच झगड़े बढ़ने लगते हैं और आखिर में

दोनों फैसला करते हैं कि रजनी की मां शीला उसे लेकर विदेश चली जाएगी और वहीं पर उसे पढ़ाए कीी लिखाए गी इस फैसले से कोई भी खुश नहीं था मगर रजनी की मां के आगे किसी की नहीं चली विदेश जाने से एक दिन पहले रजनी दुखी होकर अपनी मां से कहती है मां हमें गांव छोड़कर क्यों जाना पड़ेगा बेटा वो इसलिए क्योंकि विदेश में बहुत अच्छी पढ़ाई होती है वहां तुम्हें खूब अच्छे से पढ़ाऊंगा आंगी और फिर तुम्हें इस छोटे से गांव में रहने की बिल्कुल भी जरूरत नहीं पड़ेगी क्या मगर मुझे तो इस गांव में बहुत अच्छा लगता है मां अपनी बच्ची की इस बात का शीला

कोई जवाब नहीं दे पाती अगले ही दिन शीला रजनी को लेकर हमेशा-हमेशा के लिए विदेश चली जाती है ऐसे ही समय बीत जाता है और रजनी बड़ी हो जाती है कई साल बीत गए थे और वह अपने पिता से नहीं मिली थी मां कितने साल बीत गए हैं देखो ना मैं कब से पापा से नहीं मिली चलो ना एक बार गांव वापस चलते हैं मेरा बड़ा मन है वहां वापस जाने का ओ फू रजनी फिर वही बात मैंने तुमसे कितनी बार कहा है कि वह जगह तुम्हारे लिए नहीं है और ना ही तुम्हारे पिता से तुम्हें मिलने की कोई जरूरत है हम दोनों के लिए यही जगह अच्छी है इसलिए यहां खुश रहना सीख लो लेकिन क्यों मां अगर आपको गांव में

रहना नहीं पसंद इसका मतलब ये तो नहीं कि मैं भी वहां नहीं जा सकती और कितना समय हो गया है मैं पापा से नहीं मिली मुझे उनकी बहुत याद आती है मां मुझे उनसे मिलने जाना है शीला फिर से कुछ कहती उससे पहले ही उसका फोन बजने लगता है यह फोन गांव से ही था फोन पर बात करते ही शीला के होश उड़ जाते हैं क्या क्या हुआ मां हम गांव जा रहे हैं क्या मां रजनी तुम्हारे पापा अब इस दुनिया में नहीं है हमें गांव जाना पड़ेगा यह सुनकर तो जैसे रजनी के पैरों तले जमीन ही खिसक जाती है इतने वक्त से वह अपने पिता से मिली तक नहीं थी और अचानक से ऐसा हादसा हो गया क्या यह कैसे हो सकता है

यह सब आपकी गलती है मां मैं उनसे कब से मिलना चाहती थी मगर आपने मुझे उनसे मिलने ही नहीं दिया अभी यह सब बात करने का वक्त नहीं है रजनी तैयार हो जाओ जल्दी से हमें गांव पहुंचना होगा रजनी और शीला फ्लाइट में बैठकर गांव आ जाते हैं गांव आकर रजनी को काफी अजीब महसूस हो रहा था दो-तीन दिन तो रजनी को अपने पिता के अंतिम संस्कार करने में लग जाते हैं उसके बाद वो गांव के लोगों से मिलने जाती है जिन्हें वह बचपन में बहुत चाहती थी सबसे पहले वह उन्हीं दादी मां मंजू के घर जाती है लेकिन वहां पर ताला लगा हुआ था अरे यह ताला क्या दादी मां अब यहां नहीं रहती तभी पीछे से आवाज

आती है नहीं अब व ही दुनिया में नहीं है जैसे ही रजनी पलट कर देखती है तो खुश हो जाती है क्योंकि यह कोई और नहीं बल्कि अजीत था रजनी अजीत को तुरंत पहचान जाती है क्योंकि वह उसका बचपन का सबसे अच्छा दोस्त था जी तुम कितने सालों बाद हम मिल रहे हैं तुम्हें देखकर बहुत अच्छा लगा मुझे भी रजनी मेरा मतलब राजकुमारी जी गांव में ज्यादातर लोग रजनी को राजकुमारी जी कहकर बुलाते थे उसे यह बिल्कुल पसंद नहीं था इसलिए अजीत भी उसे चिढ़ाने के लिए जानबूझकर राजकुमारी जी कहता था मैं तो बस मजाक कर रहा था वो तो गांव में सब यही कह रहे थे कि राजकुमारी वापस आ

गई राजकुमारी वापस आ गई इसीलिए वरना मुझे तो तुम राजकुमारी लगती भी नहीं आज भी मेरा वैसे तुम्हारे पिताजी के बारे में सुनकर अच्छा नहीं लगा रजनी बेहतर होगा कि तुम जल्द ही यहां से चली जाओ क्योंकि यहां तुम्हारी जान को खतरा है (chudail ki kahani) और तुम्हारी मां की जान को भी इसीलिए यहां से जाना ही बेहतर है और सिर्फ तुम दोनों ही नहीं गांव के सभी लोगों को यहां से निकल जाना चाहिए यह सब सुनकर रजनी हैरान हो जाती है खतरा कैसा खतरा जीत क्या तुम्हें कुछ नहीं पता यही कि सालों पहले तुम्हारी मां तुम्हें लेकर विदेश क्यों चली गई थी और तुम्हारे पिता और मंजू दादी मां और

बाकी गांव वालों की जान कैसे गई नहीं मुझे यह सब कुछ भी नहीं पता अजीत तुम ही बताओ मां तो कभी कुछ नहीं बताती है ना देखो रजनी तुम्हें यह तो पता ही है कि तुम्हारे परिवार में तुम्हारे परदादा गांव के राजा हुआ करते थे उसी समय पर गांव की एक औरत थी जो बहुत दुष्ट थी वो काला जादू वगैरह करती थी और उसने उसी जादू से गांव में तबाही मचा दी थी इसीलिए तुम्हारे परदादा ने मिलकर उसे गांव से बाहर फेंक वा दिया और उसके परिवार को भी इस कारण से उसके बच्चे की मौत हो गई और उसने भी आत्महत्या कर ली जिसके बाद वह औरत एक बुरी चुड़ैल में बदल गई फिर उस चुड़ैल

ने सबको परेशान करना और मारना शुरू कर दिया इसीलिए तुम्हारे परदादा ने एक तांत्रिक बुलवाकर उस चुड़ैल को अपने घर के नीचे तहखाने में कैद करवा दिया कई साल बीत गए और वह वहीं कैद रही जब तुम्हारी मां को यह बात पता चली कि घर के नीचे एक चुड़ैल कैद है वह तुम्हें लेकर यहां से चली गई ताकि तुम सुरक्षित रह सको लेकिन एक दिन एक नौकर की गलती से वह चुड़ैल आजाद हो गई और उसने तुम्हारे पिता और मंजू दादी और गांव के कई लोगों को मारना शुरू कर दिया यह सब सुनकर रजनी दंग रह जाती है इसका मतलब यह कि वह चुड़ैल अब भी आजाद है और गांव वालों को उसे खतरा है और मां ने मुझे बचाने के

लिए मुझे विदेश ले जाने का फैसला किया था मैं तो उन्हें कितना बुरा मानती रही अजीत और रजनी घर पहुंचते हैं और वहां का नजारा देखकर हैरान रह जाते हैं चुड़ैल ने रजनी की मां को गले से पकड़ रखा था और उसे मार रही थी देखते ही देखते मैं इस पूरे गांव को खत्म कर दूंगी तुझे क्या लगा था तू यहां से बचकर निकल जाएगी यह सब देखकर रजनी को बहुत गुस्सा आ जाता है और वह जल्दी से जाकर चुड़ैल को धक्का देती है चुड़ैल दूर जाकर गिरती है और गायब हो जाती है मां मां आप ठीक तो है ना हां हां बेटा बेटा मैं ठीक हूं तुम सही समय पर आ गई वरना कुछ नहीं होगा मां मैं

अभी के अभी आपकी वापस विदेश जाने की तैयारी करती हूं क्या मेरी और तुम नहीं मां मैं नहीं जा सकती जब तक गांव में सब ठीक नहीं हो जाता अब आप मुझे यहां से और दूर नहीं रख सकती मंजू दादी मां कहती थी कि जब तक मैं इस गांव में रहूंगी यहां किसी को कुछ नहीं होगा मगर आपको वापस जाना पड़ेगा अच्छा ठीक है फिर लेकिन अपना ख्याल रखना इसके बाद शीला अपनी मां को तुरंत प्लेन से वापस वि भिजवा देती है लेकिन अब वह गांव में एकदम अकेली थी और उसे समझ नहीं आ रहा था कि वह क्या करें रजनी और अजीत सीधा घर के नीचे तहखाने में जाते हैं जहां पहुंचकर वो दोनों हैरान रह जाते हैं

क्योंकि पूरे कमरे में काले जादू का सामान बिखरा हुआ था और एक टूटा हुआ बक्सा भी पड़ा था लगता है वह चुड़ैल इसी बक्से में कैद थी और उसने बाहर निकलकर काला जादू किया होगा और उस नौकर को वश में कर लिया होगा जिससे उसने तहखाना खोल दिया और चुड़ैल बाहर निकल गई अजीत क्या तुम यह बक्सा जोड़ सकते हो हमें किसी भी तरह उस चुड़ैल को वापस इसी में कैद करना पड़ेगा थोड़ी ही देर में अजीत बक्से को जोड़ देता है और रजनी फोन करके किसी को बुलाती है हमारी पुरानी दोस्त लीना को याद है ना उसके पिता तांत्रिक थे और उसे भी यह सब आता है हम उसकी मदद से चुड़ैल को यहां तक

बुलवाएं और फिर चुड़ैल को इसी बक्से में वापस कैद कर देंगे थोड़ी ही देर में लीना आ जाती है और वह पूजा शुरू कर देती है जैसे ही लीना पूजा शुरू कर देती है और कुछ मंत्र फूक है चुड़ैल उस तहखाने में फिर से खींची चली आती है किसकी इतनी हिम्मत मत हुई जो उसने मुझे यहां बुलाया क्या तुम दोनों की इतनी मजाल रुक अभी बताती हूं तुझे मैं चुड़ैल अजीत की तरफ दौड़ती है लेकिन तभी अजीत सामने से हट जाता है और पीछे से रजनी आकर चुड़ैल को बक्से के अंदर धक्का दे देती है और बाहर से बक्सा बंद कर देती है लीना जल्दी से इस बक्से को पवित्र कर दो ताकि वह चुड़ैल बाहर ना आ सके लीना

कुछ मंत्र फूक है और फिर बक्से के ऊपर एक लाल धागा बांध देती है जिसके बाद चुड़ैल हमेशा हमेशा के लिए फिर से उस तै खाने में कैद हो जाती और इस तरह से रजनी यानी गांव की असली राजकुमारी अपने गांव को बचा लेती है और फिर हमेशा के लिए उसी गांव में बस जाती है

suhagan chudail ki kahani 200 साल पुरानी है।

यह कहानी करीब 200 साल पुरानी है।
एक नगरी में निशिगंधा नाम की अत्यंत सुंदर लड़की रहती थी।”suhagan chudail” उसकी सुंदरता की चर्चा दूर-दूर तक थी। एक दिन नगरी के राजा की नजर निशिगंधा पर पड़ी, और वह उसकी सुंदरता पर मोहित हो गया। एक रात राजा ने निशिगंधा को अपने महल में बुलवाया। लेकिन जब वह उसे अपने कमरे में ले गया, तो निशिगंधा को कुछ समझने का मौका दिए बिना उसके साथ जोर-जबरदस्ती करने लगा। इस छीना-झपटी में राजा के सिर पर चोट लगी और उसकी मौत हो गई।

राजा की मृत्यु की खबर पूरे नगर में फैल गई। लोग निशिगंधा को राजा का हत्यारा कहने लगे। कुछ ने तो यहां तक कहा कि वह इंसान नहीं, एक चुड़ैल है। जनता के गुस्से में निशिगंधा को जिंदा जला दिया गया।

लेकिन कहानी यहां खत्म नहीं हुई।
निशिगंधा का जला हुआ शरीर एक तांत्रिक को मिला। उसने अपने काले जादू से निशिगंधा को दोबारा जीवित कर दिया। पर अब निशिगंधा पहले जैसी नहीं रही। वह सचमुच एक चुड़ैल बन गई, जिसे सुंदरता, शक्ति और अमरता की भूख थी। तांत्रिक ने उसे बताया कि अमर होने के लिए उसे “16 श्रृंगार” चाहिए। ये श्रृंगार केवल उन खास आदमियों से मिल सकते थे, जो एक विशेष नक्षत्र में पैदा हुए हों। निशिगंधा को लाल चांद की रात उन आदमियों से शादी करनी होती थी और उसी रात उनकी बलि देकर वह हर श्रृंगार की ताकत हासिल कर सकती थी।

इस तरह साधारण लड़की निशिगंधा बन गई “suhagan chudail
लोग उसे महज एक डरावनी कहानी मानते थे, लेकिन अर्जुन और रानी के साथ जो हुआ, उसने सुहागन चुड़ैल के अस्तित्व को साबित कर दिया।

अर्जुन और रानी की कहानी:
अर्जुन और रानी की नई-नई शादी हुई थी। वे जयपुर में रहते थे। एक दिन वे वीकेंड ट्रिप से लौट रहे थे। रास्ते में चाय पीने के लिए एक रेस्टोरेंट पर रुके। तभी एक बेहद खूबसूरत लड़की अंदर आई। अर्जुन उसकी सुंदरता में खो गया, जिससे रानी नाराज हो गई।

लड़की के अजीब कपड़े और ज़्यादा सजावट रानी को शक में डाल रहे थे। उसने माथे पर मांगटीका और हाथों में मेहंदी लगा रखी थी। तभी लड़की ने अपने मांगटीके को छुआ, और अचानक बारिश शुरू हो गई, जो गर्मी के मौसम में असंभव थी।

अर्जुन ने लड़की को घर आने का न्योता दिया, और वह बिना हिचक वहां आ गई। घर पहुंचने के बाद रानी ने अर्जुन को उस लड़की के साथ ड्रॉइंग रूम में बातें करते छोड़ा। पर कुछ देर बाद जब रानी कमरे में लौटी, तो अर्जुन और लड़की वहां नहीं थे।

भयानक सच का पता चलता है:
रानी को बेडरूम से अजीब आवाजें सुनाई दीं। उसने देखा कि अर्जुन सो रहा था, और वह लड़की उसे घूर रही थी। शीशे में उस लड़की का चेहरा जला हुआ नजर आया, जिससे रानी का दिल दहल गया। तभी लड़की ने रानी को देखा, और रानी बेहोश हो गई।

होश में आने पर रानी ने देखा कि अर्जुन और वह लड़की गायब थे। कुछ समय बाद दोनों शादी के कपड़ों में घर लौटे। अर्जुन ने रानी को बताया कि उसने उस लड़की से शादी कर ली है।

रानी ने देखा कि उस लड़की के पैर उल्टे थे। उसे यकीन हो गया कि वह चुड़ैल है। अर्जुन की चीखें सुनकर रानी कमरे में गई, तो देखा कि लड़की ने अपनी भयानक चुड़ैल वाली शक्ल में आकर अर्जुन पर हमला किया। उसकी मेहंदी अर्जुन को जकड़कर उसे मार रही थी। रानी के सामने ही चुड़ैल ने अर्जुन की जान ले ली और गायब हो गई।

suhagan chudail की तलाश:
अब तक वह चुड़ैल 15 श्रृंगार हासिल कर चुकी थी। अमर होने के लिए उसे सिर्फ एक श्रृंगार चाहिए था। उसका अगला शिकार था वज्रगढ़ के राजघराने का मोक्ष। लेकिन मोक्ष के पास उसकी प्रेमिका दिया का शक्तिशाली लॉकेट था।

क्या दिया अपने प्रेमी मोक्ष को बचा पाएगी?
क्या वह सुहागन चुड़ैल के मायाजाल और उसकी शक्तियों को हरा पाएगी?

The Dark Secrets of Suhagan Chudail

The legend of the Suhagan Chudail dates back 200 years, a chilling tale of beauty, betrayal, and black magic. This terrifying story begins in a small kingdom where a beautiful girl named Nishigandha lived. Her beauty was unparalleled, and one fateful day, the king of the land became obsessed with her.

One night, the king summoned Nishigandha to his palace. Before she could understand his intentions, the king tried to force himself on her. In the struggle, the king met with an accident, and he died on the spot. The entire kingdom accused Nishigandha of the king’s murder. Whispers spread that she was no ordinary girl but a chudail (witch). In their fury, the villagers burned Nishigandha alive.

The Transformation into Suhagan Chudail

As her story seemed to end in tragedy, a tantric stumbled upon her charred body. Using his dark magic, he brought her back to life, but Nishigandha was no longer human. She became the Suhagan Chudail, a being thirsty for beauty, power, and immortality.

The tantric revealed to her that she could achieve immortality by acquiring the “16 Shringaar” (sixteen adornments of a married woman). Each Shringaar had a unique power, and to gain them, she had to marry men born under a rare constellation and sacrifice them on the night of a red moon.

Thus, the ordinary Nishigandha became the dreaded Suhagan Chudail, a name that would haunt the region for centuries.

The Chilling Encounter of Arjun and Rani

Arjun and Rani, a newlywed couple living in Jaipur, had an eerie encounter with the Suhagan Chudail. One weekend, they were returning home from a road trip when they stopped at a roadside tea stall. A stunningly beautiful woman walked in, and Arjun couldn’t take his eyes off her.

Rani grew suspicious of the woman, who was adorned with heavy jewelry, including a mangtika and mehendi. Soon, strange events unfolded. The woman touched her mangtika, and out of nowhere, it started raining heavily, despite it being summer.

Against Rani’s wishes, Arjun invited the woman to their home. At home, Rani noticed something odd – the woman didn’t cast a reflection in the mirror, and her face appeared burned.

The True Face of Suhagan Chudail

That night, Rani witnessed the horrifying truth. The woman revealed her true form – half-burned skin and a terrifying face. She used her magical mehendi to bind Arjun and ultimately killed him before vanishing. This was the work of the Suhagan Chudail, who had claimed her 15th Shringaar.

The Final Hunt

With only one Shringaar left to achieve immortality, the Suhagan Chudail set her sights on Moksh, a royal heir from Vajragarh. However, Moksh was protected by his lover Diya, whose love and magical locket might be the key to defeating the Suhagan Chudail.

Will Suhagan Chudail Be Stopped?

Can Diya and Moksh fight the Suhagan Chudail and her sinister powers? Or will she achieve immortality by claiming her 16th Shringaar?

chudail ki kahani

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भूत चुड़ैलों की खूनी ईद सभी लोग बहुत खुश थे क्योंकि रमजान के दिन चल रहे थे गांव में सभी ने रोजे रखे थे और आपस में ईद के आने की बातें कर रहे थे ईद आने में बस कुछ ही दिन बाकी है अरे हां हमारे घर पर भी तो बहुत कुछ बनेगा इस ईद पर तुम मेरे घर पर जरूर आना फिर मैं तुम्हारे घर आऊंगी सभी को ईद की मुबारकबाद देने तुम दोनों मेरे घर भी आना तुम जैसे गरीबों के घर में हम जैसे अमीर नहीं जाते रुखसार ऐसा कहकर अपनी अमीर सहेली शकीना के साथ वहां से चली जाती है चलो बच्चों घर के अंदर चलो रात को घर से बाहर निकलना ठीक नहीं है अब्बू थोड़ा

खेलने दो तुम दोनों अब अपने कमरे में खेल लेना हामिद जोया और रूबी को उनके कमरे में भेज देता है जिसके बाद वह दोनों एक बॉल से अपने कमरे में ही खेल रही होती हैं और इस वक्त बॉल खिड़की से बाहर नीचे के गिर जाती है अरे यार तुमने यह क्या किया अब अब वो हमें बहुत डांट या अल्लाह मुझे तो सराबी नहीं पता था कि ऐसा हो जाएगा अब हम लोग क्या करें हमारी बॉल बाहर पड़ी है चलो बॉल लेकर आते हैं अब उन्हें बाहर निकलने से म मना किया था अरे किसी ने हमारी बॉल चुरा ली तो रूबी ऐसा कहकर जोया के साथ खिड़की से नीचे कूद जाती है और बॉल उठाने के लिए


आगे बढ़ती है तभी वहां उसे एक आवाज आती है मेरे पास आओ बेटी तुम्हें ईद मुबारक के तौर पर एक तोहफा देती हूं कौन है यहां कौन है तभी उसके सामने एक औरत आती है मैं बहुत करीब हूं और मेरा इस दुनिया में कोई नहीं है क्या तुम मुझे ईद मुबारक नहीं करोगी अल्लाह के लिए अब उने कहा था कि किसी भी अनजान से बात नहीं करनी चाहिए लेकिन तुम मुझसे बात कर सकती हो मैं अनजान हूं लेकिन मैं बुरी नहीं हूं मेरी भी बेटी है शाहीन इधर आओ रूबी के जैसे ही एक शाहीन नाम की लड़की उसके सामने आती है क्या तुम मेरी दोस्त बनोगी क्या मैं भी तुम्हारी तरह इस


बॉल के साथ खेल सकती हूं रूबी उन्हें देखकर उनके ऊपर विश्वास करने लगती है जैसे मेरे लिए मेरी बेटी शाहीन है वैसे ही तुम भी हो आओ गली लगो और ईद मुबारक दो नजमा के इतना कहने पर रूबी उसे गले से लगाने के लिए आगे बढ़ती है तभी पी से जोया उसे रोकने की कोशिश करती है रुक जाओ मत जाओ रूबी अब उन्हें देख लिया तो बहुत मारेंगे जोया के कहने पर भी रूबी उसकी बात नहीं सुन पाती क्योंकि वह फातिमा की तरफ ही आकर्षित होने लगती है जिसके बाद शाहीन जोया के पास जाती है और उसे गले से लगा लेती है छोड़ो छोड़ो मुझे तुम्हें ईद मुबारक हो देखते ही देखते शाहीन एक बहुत


भयानक चुड़ैल में बदल जाती है तो उधर रूबी भी नजमा के पास पहुंच जाती है और उसे गले से लगा लेती है ईद मुबारक हो ईद मुबारक लेते ही अचानक से नजमा एक बहुत ही भयानक चुड़ैल का रूप बदल लेती है और रूबी को पकड़ लेती है आखिर तुम फसी गई छोड़ दो मुझे जाने दो मुझे बहुत डर लग रहा है मैंने तुम्हारा क्या बिगाड़ा है अल्लाह के लिए मुझे छोड़ दो अब्बू अब्बू हमारी मदद करें हमें बचाए इन चुड़ैलों से कोई नहीं बचाएगा तुम्हें क्योंकि अब यह आखिरी ईद है तुम्हारी अब तुम कहां जाओगी चुड़ैल बेटी इतना कहते ही अपना खंजर निकालती है और जोया को मार देती है तो


वहीं चुड़ैल भी अपना खंजर निकालकर रूबी को मार देती है जिसके बाद दोनों मुस्लिम चुड़ैल मां बेटी वहां से गायब हो जाती हैं अगले दिन सवेरे हमीद को अपने घर के बाहर अपनी दोनों बेटियों की लाश पड़ी हुई नजर आती है या अल्लाह यह क्या हो गया अरे मेरी दोनों बेटियों को किसने मार डाला ऐसा किसने किया होगा वो भी रमज के इन पाक दिनों में हामिद फूट फूट कर रोने लगता है जिसके बाद गांव के सभी मुस्लिम एक साथ इकट्ठे हो जाते हैं अरे मुझे तो समझ ही नहीं आ रहा कि यह मौत का सिलसिला और कब तक चलता रहेगा अरे अब बस बहुत हुआ हमें कोई ना कोई समाधान निकालना


होगा नहीं तो रमजान के पाक दिनों में और भी कई जान जा सकती हैं इन दोनों बहनों को मिलाकर अभी तक हमारे गांव में पूरे 12 लोगों की मौत हो चुकी है हमें पीर बाबा जाना चाहिए अब शायद वही हम हमारी मदद कर सकते हैं गांव के सभी लोग दरगाह पर जाते हैं और वहां चादर चढ़ाने के बाद पीर बाबा से मदद मांगते हैं बाबा हमारी मदद करो हमारे गांव पर परेशानियां आ गई है चिंता मत कर बेटा सब कुछ ठीक हो जाएगा ऊपर बैठे खुदा पर विश्वास रख इस तरह पीर बाबा गांव के सभी लोगों को थोड़ी सी तसल्ली दे देते हैं जिसके बाद अगले दो दिन में ईद आने वाली होती है और सभी डर के मारे अपने घरों


से बाहर तक नहीं निकलते मैं तो घर से बाहर निकलूंगा का परिवार आकर हम पर हमला बोल दे खिड़की दरवाजा बंद कर लो रुखसार रात का समय होता ही जा रहा है रात के समय फिर से चुड़ैल का परिवार गांव में आ जाता है ओ हो कोई भी नहीं है आज तो यहां अब हम अपना शिकार कैसे ढूंढे कैसे ले इन गांव वालों से अपनी मौत का बदला जब तक मैं इस गांव से नामो निशान अमीरों का नहीं मिटा देती तब तक मेरी आत्मा को मुक्ति नहीं मिलेगी भूख लगी है खाना लाओ भूख लगी है खाना लाओ तभी वहां पीर बाबा आते हैं उनके हाथों में बबूती होती है कौन हो तुम लोग और यहां इस


गांव में क्या कर रहे हो यह पूछने वाला तू कौन होता है बाबा चला जा यहां से नहीं जाऊंगा पहले मुझे तुम्हारी हकीकत जाननी है बाबा की यह कहते ही चुड़ैल का भूतिया परिवार अपने खंजर निकालकर बाबा की तरफ बढ़ने लगते हैं जैसे वो सभी बाबा के पास आते हैं पीर बाबा अपनी लाइफ हुई बबूती में कुछ पढ़कर उनके ऊपर फूक देते हैं जिसके बाद चुड़ैल और उसका पूरा परिवार तड़पने लगता है अरे बाबा यह तूने क्या किया क्या फूका है तूने हमारे ऊपर दरगाह की राख है हर बुराई को राख कर देती है अगर तुमने अभी भी नहीं बताया तो नहीं बाबा और कुछ मत करो मैं सब बताती हूं यह कुछ समय पहले की बात


है जब हम इस गांव में रहा करते थे हम सब बहुत गरीब थे बेटी क्या कर रही हो तुम तुम्हें पता है ना आज ईद है चलो तैयार हो जाओ अम्मी जान आप मेरे लिए नए कपड़े तक नहीं लाई हो और कह रही हो कि तैयार हो जाऊं जब मेरी मालकिन मुझे पैसे दे देगी तो मैं तुम्हारे लिए कपड़े ले आऊंगी ठीक है अम्मी जान वैसे आज आपने ईद में क्या बनाया है ज्यादा कुछ नहीं बस सवैया ही बनाई है अम्मी जान हम इतने गरीब क्यों हैं काश हम अमीर होते जैसे गांव के बाकी लोग अमीर हैं तभी वहां अख्तर आता है क्या हुआ क्या बातें चल रही है मां बेटी की के बीच में हम इतने गरीब क्यों हैं अब्बू हमारी यह ईद


भी अच्छे से नहीं जाने वाली अगली बार अच्छे से जाएगी चलो अब अपनी अम्मी के हाथों की बनी सेवइयां खाते हैं अखतर के बोलने पर सब सेवइयां खा ही रहे होते हैं उस दिन उनके घर में पानी खत्म हो गया था पानी खत्म हो गया है मैं पानी लेकर आती हूं नदी से नजमा नदी की तरफ पानी लेने जाती है उसके बाद उसे नदी के पास मरे हुए जानवर दिखाई देते हैं या खुदा यह बेजुबान जानवर यहां मरे हुए अब इस पानी को तो मैं नहीं ले सकती नजमा वहां से वापस आ रही होती है उसे रास्ते में एक हैंड पंप दिखाई देता है यहीं से पानी ले लेती हूं नजमा वहां से पानी भरने

लगती है वो भरकर उसे अपने घर ले आती है लेकिन उसके पीछे-पीछे सभी अमीर उसकी छोटी सी कुटिया के पास पहुंच जाते हैं अरे बाहर निकल तेरी हिम्मत कैसे हुई हमारी हैंड पंप से पानी लेने की नजमा अपने पूरे परिवार के साथ बाहर आती है क्या हुआ यह शोर क्यों है आप यहां आप सभी लोगों को ईद मुबारक अरे इन गांव वालों ने मुझसे शिकायत की है कि तुमने हमारे अमीरों के हैंड पंप से पानी भरा है जो कि बहुत बड़ा गुनाह है तुम जैसे गरीब लोग वहां पानी नहीं भर सकते पानी पर तो सभी का हक है वैसे भी पानी मैं नदी से लेकर आया करती थी आज नदी के पास कुछ जानवर मरे हुए


थे बस चुप हो जाओ मैंने फैसला कर लिया गांव वालों के चलते आज से तुम्हारा इस गांव से दाना पानी खत्म किया जाता है अब तुम इस गांव से बहुत दूर चले जाओ वरना हम अमीर जब भी तुम्हें देखेंगे तो तुम्हारी तरफ पत्थर फेंक कर मारेंगे अब्दुल ऐसा कहकर चला जाता है जिसके बाद उन लोगों को कोई किसी भी चीज के लिए नहीं पूछता उन लोगों के साथ ईद मनाने से लेकर उनके पास खड़े होना भी बहुत बड़ा गुनाह था और इसी की वजह से उन्हें दाना पानी भी नहीं मिल रहा था ऐसा पूरे एक साल तक चलता रहा और अगले साल की ईद पर पूरा परिवार भूखा प्यासा मर गया आप ही बताओ कोई किसी के साथ

ऐसा करता है क्या करीब होने का इतना बड़ा गुनाह है क्या अल्लाह की नजर में में हम सभी एक ही हैं लेकिन यहां लोगों ने ऊंचा नीचा अमीर गरीब सब बना दिया है तुम्हारे साथ जो हुआ बहुत गलत हुआ लेकिन कुछ लोगों की सजा तुम इन सभी लोगों को क्यों दे रही हो बाबा की यह कहते ही पूरा गांव वहां इकट्ठा हो जाता है और एक साथ चुड़ैल से कहता है हम सभी को माफ कर दो हमसे बहुत बड़ी भूल हो गई हम सब दोबारा ऐसा कभी नहीं करेंगे अल्लाह की खातिर यहां से तुम सभी हमेशा के लिए चले जाओ गांव वालों के माफी मांगने के चलते चुड़ैल अपने भूतिया परिवार के साथ वहां से हमेशा हमेशा के लिए चली
जाती है उस दिन के बाद से ईद पर फिर दोबारा किसी के साथ ऐसा कभी नहीं होता और सब ईद अच्छे से मनाते हैं

Chudail Aur insan Ki Prem Kahani | Horror Kahani Story || chudail ki kahani

chudail ki kahani 1

अंधेरी रात थी चांदनी ने अपनी चादर खींच ली थी जैसे आसमान ने भी दर्द से मुंह फेर लिया हो एक घाना और वीरान जंगल था और इस जंगल के बीचोंबीच एक टूटी-फूटी झोपड़ी थी इस झोपड़ी में नेहा अपने आंसुओं के समंदर में डूब रही थी पर नेहा की आंखों में सच्चा प्यार था पर नेहा बिल्कुल अकेली थी(chudail ki kahani ) उसके चेहरे पर उदासी के साथ एक अनकही तड़प साफ झलक रही थी वह बार-बार एक ही नाम रट रही थी आरफ आरफ यह नाम उसके दिल की गहराइयों में बसा हुआ था लेकिन उसकी आवाज जैसे जंगल की जड़ंज बनकर खो जाती थी आरव जो कभी उससे मिलने का वादा करके गया था अब आरव लटके वापस नहीं आया नेहा का दिल पूरी

chudail ki kahani 2
तरह से टूटने की कगार पर था लेकिन इस उदासी के बीच उसकी नजर एक पुराने खत पर पड़ी यह खत आरव ने उसे लिखा था उसमें आरव ने लिखा था कि वह एक दिन लौटेगा लेकिन इसी खत के नीचे खून के धब्बे थे नेहा का दिल दहशत से भर गया उसी समय झोपड़ी के पास कुछ पत्तों की सरसराहट सुनाई दी नेहा झोपड़ी से बाहर भागी और देखा कि कोई परछाई तेजी से घने जंगल में गुम हो रही है नेहा को डर और बेचैनी ने जकड़ लिया उसने तुरंत वह खत को पकड़ा और एक बार फिर पूरा खत पढ़ा तभी उसकी आंखों के सामने आरव की एक धुंधली तस्वीर उभर आई जो मदद के लिए पुकार रहा था नेहा को एहसास हुआ कि यह सब कोई खेल था वह

chudail ki kahani 3
बहुत घबराई और दौड़ती हुई गांव पहुंची और आरव के करीब दोस्तों से मिली और सभी दोस्तों से सवाल जवाब करने लगी पर आरव के किसी दोस्त ने सही जवाब नेहा को नहीं दिया इनके बाद धीरे-धीरे नेहा को यह समझ आया कि आरव ने किसी को उसके बारे में नहीं बताया था उसकी हर बात को छुपाया गया था यह जानकर उसका गुस्सा फूट पड़ा उसने जंगल के एक बुजुर्ग बाबा से जाकर पूछा और इस बुजुर्ग बाबा ने ने नेहा को कुछ ऐसा कहा जिसने नेहा को आग बबूला कर दिया बाबा ने कहा आरव उस जंगल में चुड़ैल की साजिश का शिकार हो गया होगा बुजुर्ग बाबा ने नेहा को कहा यहां जो प्यार करता है उसकी मौत तय होती

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है नेहा को बाबा की बातों पर यकीन नहीं हुआ और इसी वक्त कि वह खुद जंगल में आरफ की तलाश करने के लिए जाओगी वह झोपड़ी के पीछे एक पुराने कुएं तक पहुंची उस कुएं से एक धी सी सिसकी सुनाई दी जैसे ही उसने इस कुएं में झांका नेहा की रूह कांप गई नहाने ने उस कुएं में आरव की लाश पानी में तैरती देखी फिर भी नेहा के चेहरे पर एक अजीब सुकून था इस कुए के पास एक और खत नेहा को मिला जिस खत में लिखा था नेहा अगर तुम यह खत पढ़ रही हो तो जान लो कि मेरा प्यार सच्चा था लेकिन मैंने चुड़ैल के साथ एक समझौता किया था मुझे तुम्हें बचाने के लिए

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अपनी जान देनी पड़ी नेहा यह खत पीआर एच ने के बाद रह गई थी वह समझ नहीं पा रही थी कि आरव ने किस चुड़ैल का जिक्र किया है तभी नेहा ने अपने कंधे पर किसी की उंगलियों का हल्का स्पर्श महसूस हुआ वह जाट से पलटी और एक खूबसूरत लेकिन भयावह महिला को अपने सामने खड़ा पाया उसने धीमे स्वर में कहा नेहा तुमने मेरे प्यार को मुझसे छीन लिया अब तुम्हारी बारी है नेहा डर से चीख भी नहीं पाई क्या नेहा अपनी जान बचा पाएगी आरव ने जिस समझौते का जिक्र किया था वह समझौते क्या था और चुड़ैल का सच क्या है अगले एपिसोड में आप देखेंगे नेहा की लड़ाई और चुड़ैल की सच्चाई दोनों का पर्दाफाश

https://youtu.be/kdssCamPHmo?feature=shared

Chudail ki kahani: दोस्ती, संघर्ष और सफलता की अनोखी दास्तां

उमा एक छोटे से गांव से शहर में पढ़ाई करने आई थी। उसके गरीब माता-पिता बड़ी मुश्किल से उसकी पढ़ाई का खर्च जुटा पाते थे। शहर में उसने एक छोटी-सी बस्ती में किराए पर कमरा लिया हुआ था। हालात मुश्किल थे, लेकिन उमा ने कभी हार मानने की नहीं सोची।

एक दिन, जब उमा किराने की दुकान पर सामान लेने गई, तो उसकी मुलाकात शीना नाम की चाइनीज लड़की से हुई, जो सस्ते कमरे की तलाश में थी। उमा ने उसे अपने साथ रहने का प्रस्ताव दिया। शीना और उमा साथ रहने लगीं, और उनकी दोस्ती गहरी हो गई।

हालांकि, पैसों की तंगी उनकी सबसे बड़ी समस्या बन गई। दोनों ने मिलकर एक हल सोचा – शीना के स्वादिष्ट चाइनीज फूड का ठेला लगाना। उनके ठेले का सस्ता और स्वादिष्ट खाना लोगों को बेहद पसंद आया, और उनका काम तेजी से चल पड़ा।

लेकिन उनकी खुशी ज्यादा दिनों तक टिक नहीं पाई। शीना की तबीयत अचानक बिगड़ने लगी। कई अस्पतालों और दवाओं के बावजूद, शीना की हालत खराब होती गई, और एक दिन उसने हमेशा के लिए उमा को छोड़ दिया। उमा अपने सबसे अच्छे दोस्त को खोने के गम में टूट गई।

Chudail ki kahani का अद्भुत मोड़

उमा जब शीना को याद कर रही थी, तभी उसने अपने कंधे पर किसी का स्पर्श महसूस किया। पलटकर देखा, तो वह एक चुड़ैल थी। वह चुड़ैल कोई और नहीं, बल्कि शीना की आत्मा थी, जो उमा की मदद करने के लिए वापस आई थी।

शीना ने उमा का साथ देने का वादा किया। उसने अपनी चुड़ैल शक्तियों से चाइनीज फूड बनाना शुरू किया और उमा से कहा कि वह अब अपनी पढ़ाई पर ध्यान दे। उमा ने मेहनत की और कॉलेज में टॉप किया। उसे विदेश में पढ़ाई के लिए स्कॉलरशिप मिली।

दोस्ती का अमर बंधन

विदेश जाने से पहले उमा ने चुड़ैल शीना को गले लगाते हुए कहा, “तुमने मेरी जिंदगी बदल दी।” शीना ने मुस्कुराते हुए कहा, “तुम्हारी सफलता मेरा मकसद था। अब मेरी आत्मा को शांति मिलेगी।”

इसके बाद शीना ने हमेशा के लिए विदाई ली।

सफलता की नई उड़ान

विदेश से पढ़ाई पूरी करने के बाद उमा शहर लौटी और उसे एक बड़ी नौकरी मिली। उसने अपने माता-पिता को भी अपने साथ बुला लिया। हालांकि, उमा कभी अपनी दोस्त शीना और उनके साथ बिताए पलों को नहीं भूली।

यह Chudail ki kahani” केवल एक अद्भुत दोस्ती की मिसाल ही नहीं, बल्कि यह सिखाती है कि सच्चे दोस्त कभी साथ नहीं छोड़ते, चाहे वे इस दुनिया में हों या नहीं।